Pradeep Ghosh .
2-4अक्टूबर 2016 इन्दौर में इप्टा का राष्ट्रीय सम्मेलन। 90 वर्षीय का.पेरीन दाजी ने इप्टा का झंडा फहराकर कार्यक्रम की शुरुआत की। एम एस सैत्थु, आनन्द पटवर्धन, राजन राजन हर सत्र मे न जाने कितने ही बुद्धीजीवी,सामाजिक कार्यकर्ता, सांस्कृतिक कर्मीयों का जमावड़ा व विचारों का आदान प्रदान होता रहा। उ प्र का महामंत्री होने के नाते डेलीगेट शेसन मे मुझे भी वक्ता बनाया गया। मैने जिन बिन्दुओं पर बल दिया :
1) हर सत्र में मंच पर युवा व महिला होनी चाहिए ,
2)क्षेत्रिय भाषा मे 4-5 प्रदेशों का वर्ष भर अलग अलग फेस्टीवल हो जिस्से देश भर मे प्रभाव व सक्रियता बनी रहे।
3) हमे अपने विषय व शर्तों पर गरान्ट लेना चाहिए। मंत्री अपने जेब से नही देता हमारे टैक्स का पैसा है।
सत्र के अन्त महामंत्री राकेश व अध्यक्ष रणवीर सिंह जी द्वारा तीनो बातें स्वीकृत कर ली गई। शीतल सठे को सुनना एक उपलब्धि थी।
https://www.facebook.com/pradeep.ghosh.7587/posts/566584150216159
No comments:
Post a Comment
कुछ अनर्गल टिप्पणियों के प्राप्त होने के कारण इस ब्लॉग पर मोडरेशन सक्षम है.असुविधा के लिए खेद है.